चार व्यक्तियो को अदालत में पेश किया गया।
इल्जाम था कि वे पार्क में बैठे जुआ खेल रहे थे।
मजिस्ट्रेट ने बारी-बारी से उनसे पूछा।
पहले ने कहा, मैं उस दिन यहां था ही नहीं।
सबूत के तौर पर अपने ट्रैवल एजेट से रैल टिकट की रसीद दे सकता हूं।
दूसरा बोला - उस दिन मैं घर पर बुखार में पड़ा था।
डॉक्टर का सर्टीफिकेट पेश कर सकता हूं।'
तीसरे का जवाब था, 'मैंने आज तक कभी जुआ नहीं खेला, ताश को हाथ तक नहीं लगाया।'
चोथा चुपचाप खड़ा रहा।
उससे पूछा, और तुम भी जुआ नहीं खेल रहे थे ?
वह बोला, जी मैं अकेला जुआ कैसे खेल सकता हूं।