एक दिन जेसी झील के किनारे बैठा हुआ था , तभी एक आदमी ने पानी में छलांग लगा दी ।
जेसी उसके बाहर आने का इंतजार करता लेकिन रहा ।
एक मिनट बीता , दो मिनट बीते पांच मिनट बीत गए , वह आदमी पानी से बाहर नहीं आया ।
जेसी ने सोचा , ' उस आदमी को अब तक पानी से बाहर आ जाना चाहिए था ।
फिर वह क्यों नहीं आया ? " जेसी को आशंका हुई कि कहीं वह आदमी पानी में डूब न गया हो ।
अगले दिन जेसी ने पूरा अखबार देख लिया , लेकिन किसी के भी डूबकर मरने की खबर नहीं छपी थी ।
अगले सप्ताह दोपहर को जेसी उस जगह दोबारा गया ।
उसने उसी आदमी को फिर से पानी में छलांग लगाते देखा ।
जेसी ने सोचा , ' मैं यहीं रुककर इंतजार करता हूं ।
यह आदमी । क्या कर रहा है ।
वैसे मॉम को मालूम है कि मैं तीन बजे घर लौटूंगा ।
अभी मेरे पास काफी समय है । ' जेसी वहीं बैठकर प्रतीक्षा करने लगा ।
उसने मन ही मन में उस रहस्यमय आदमी का नाम नर - मछली रख दिया था ।
एक घंटे बाद वह नर मछली पानी से बाहर आया ।
एक पल के लिए वह बड़े दांत और विचित्र रूप के कारण भयंकर शॉर्क जैसा लगा ।
जेसी उसे देखकर कांप गया ।
लेकिन अगले ही पल नर - मछली ने मानव का रूप ले लिया ।
जेसी डर के मारे घर भाग आया । उसने सोचा कि कहीं नर - मछली उसे खा न जाए ।
जेसी सोच रहा था , ' वह मनुष्य , मछली कैसे बनता है ।
मुझे जाकर देखना चाहिए कि वह कैसे रूप बदलता है ?
' अगले कुछ दिनों तक जेसी झील के पास जाकर उसे देखता रहा ।
वह उस आदमी की असलियत जानना चाहता था ।
एक दिन जेसी को झील के किनारे एक सुंदर सीप पड़ी मिली ।
अगले दिन उसी जगह पर एक मोती रखा था ।
जेसी ने वे चीजें जमा कर लीं और उनके बारे में कभी ज्यादा नहीं सोचा ।
एक दिन जेसी जल्दी झील के पास पहुंच गया ।
वहां उसने देखा कि उसके बैठने की जगह पर वही नर - मछली खड़ा था ।
लेकिन उसके निकट पहुंचने से पहले ही वह नर मछली गायब हो गया ।
उस दिन वह जेसी के लिए एक बड़ा - सा सीप छोड़ गया था , जिसमें नीले रंग का मोती था ।
अब उसकी समझ में आ गया था कि वह नर - मछली उससे दोस्ती करना चाहता है ।
ऐसा विचार जेसी के मन में आते ही उसका सारा डर जाता रहा ।
अगले दिन से वह नर मछली के लिए कोई फल ले जाने लगा ।
नर - मछली रोजाना उसके लिए जल से कोई उपहार अवश्य लाता था ।
इस तरह उनके बीच एक विचित्र - सी दोस्ती हो गई ।
वे दोनों एक - दूसरे की भाषा नहीं जानते थे , लेकिन प्यार की भी एक भाषा होती है ।
जेसी और नर - मछली के बीच उसी भाषा में बातचीत होती थी । अब जेसी यह नहीं
जानना चाहता था कि नर - मछली कौन था और उसका क्या राज था ?
दोनों दोस्तों को एक दूसरे के साथ समय बिताना बहुत अच्छा लगता था ।