बहुत पुरानी बात है।
एक उल्लू और एक सीगुल दोस्त थे।
उन दोनों ने सोचा कि मिलकर कोई काम शुरू किया जाए।
लेकिन कोई भी व्यवसाय शुरू करने के लिए पैसों की ज़रूरत थी।
सीगुल के पास एक कीमती मोती था।
लेकिन उल्लू के पास पैसे नहीं थे।
इसलिए उसने अपने एक दोस्त से पैसे उधार लिए।
दोनों दोस्त मोती और पैसे लेकर एक पानी के जहाज़ पर सवार हो गए।
ये जहाज़ समुद्र से होकर आस्ट्रेलिया की ओर जा रहा था।
रात को जब जहाज़् समुद्र के बीचोंबीच था, तब बहुत तेज़ तूफान आया।
सीगुल और उल्लू तो किसी तरह जान बचाकर उड़ गए।
लेकिन उनके पैसे और मोती समुद्र में डूब गए।
उल्लू ने अपने दोस्त से पैसे लिए हुए थे।
लेकिन उसे वापिस करने के लिए उसके पास कुछ भी नहीं था।
उल्लू इस बात से इतना शर्मिंदा हुआ कि उसने दिन में बाहर निकलना बंद कर दिया।
बेचारा अभी तक छिपकर घूम रहा है।
इसीलिए सिर्फ रात को बाहर आता है, जिससे कि कोई उसे देख न ले।
और बेचारा सीगुल, वह तो अपने मोती के खो जाने पर इतना दुःखी हुआ है कि आज भी समुद्र के आस-पास ही मँडराता रहता है।
उसे विश्वास है कि एक-न-एक दिन समुद्र उसका मोती ज़रूर लौटाएगा।